Buy Spiritual ProductsBuy Spiritual Products
    Buy Spiritual ProductsBuy Spiritual Products
    • Silver Jewellery
    • Spiritual T Shirt
    • Spiritual Locket
    • Spiritual Ring
    • Spiritual Bracelet
    0 Shopping Cart
    Buy Spiritual ProductsBuy Spiritual Products
    0 Shopping Cart
    Home » Kalyaneshwar Mahadev mandir: ऐसा मंदिर जहां शिवलिंग पर जल अर्पित करते ही हो जाता है गायब
    Astrology Story Temple धर्म

    Kalyaneshwar Mahadev mandir: ऐसा मंदिर जहां शिवलिंग पर जल अर्पित करते ही हो जाता है गायब

    Prabhu BhaktiBy Prabhu BhaktiJuly 26, 2023Updated:July 26, 2023
    kalyaneshwar mahadev mandir
    Share
    Facebook WhatsApp

    भगवान महादेव के देश भर में अनेकों मंदिर है। जो कि अपने में कोई न कोई रहस्य समेटे हुए है। अनेकों मंदिर ऐसे है जिन्हें देखकर वैज्ञानिक भी हैरान है, और उनके रहस्य को अभी तक समझ नहीं पाए है। आज के इस आर्टिकल में एक ऐसे ही मंदिर के बारे में बताएंगे। जिसके आगे वैज्ञानिकों ने भी माथा टेक लिया। दरअसल हम बात कर रहे है कल्याणेश्वरी मंदिर की। हिंदु धर्म का बेहद ही प्राचीन मंदिर और फेमस मंदिर । कहीं न कहीं आपने भी इस मंदिर के चमत्कार के बारे में सुना होगा।

    कल्याणेश्वर महादेव का मंदिर। kalyaneshwar mahadev mandir

    इस अद्भुत और चमत्कारी मंदिर का नाम है कल्याणेश्वरी मंदिर। जोकि दिल्ली से करीब 90 किलोमीटर दूर गढ़मुक्तेश्वर है, जहां के पांच मंदिरों में सबसे प्राचीन मंदिर है कल्याणेश्वर महादेव का मंदिर। इस मंदिर के रहस्य और चमत्कार को आज तक कोई भी नहीं समझ पाया है। बताया जाता है कि भोलेनाथ का यह मंदिर अपने आप में कई रहस्यों को समेटे हुए हैं। इस मंदिर का सबसे बड़ा रहस्य यह है कि यदि कोई यहां के शिवलिंग पर जल अर्पित करता है। तो वह जल शिवलिंग पर बहता नहीं बल्कि गायब हो जाता है। यह पानी कहां गायब हो जाता है। आज तक इस रहस्य को कई भी नहीं जान पाया है।

    क्या है कल्याणेश्वर मंदिर की कहानी। Kalyaneshwar Mahadev story

    इस मंदिर की पौराणिक कथा के अनुसार, महाभारत काल का एक राजा नहूस था। बताया जाता है कि उस राजा ने इस मंदिर के शिवलिंग पर लाखों घड़े जल अर्पित किया था। लेकिन इसके बाद भी वह राजा यह नहीं जान पाया कि आखिर शिवलिंग पर अर्पित किया गया जल कहां गायब हो जाता है। कहते हैं कि जब राजा ने शिवलिंग की परीक्षा लेने के लिए उस पर लाखों घड़े पानी अर्पित किया तो इस परीक्षा के कारण उसे श्राप लग गया था। उस श्राप के कारण राजा नहूस की पूरी जिंदगी तबाह हो गई थी। बताया जाता है कि गढ़मुक्तेश्वर में गंगा के तट पर भगवान परशुराम द्वारा तीन शिवलिंगों को स्थापित किया गया था। इनमें से भगवान परशुराम ने एक मुक्तेश्वर महादेव, झारखंडेश्वर महादेव और कल्याणेश्वर महादेव का शिवलिंग स्थापित किया था। वहीं कुछ लोगों का मानना है कि शिवाजी महाराज ने इस मंदिर को बनवाया था। इस मंदिर का एक रहस्य यह भी है कि कल्याणेश्वर महादेव का कल्याणपुर गांव पर वरदान है। कहते हैं कि इस गांव के लोगों को सांप कभी नहीं काट सकता। वहीं यदि किसी व्य़क्ति को सांप काट लेता है, तो उस पर कोई असर नहीं होता है।

    आखिर क्या है सुरंग का रहस्य।kalyaneshwar mahadev mandir ka rahasya

    बता दें कि कल्याणेश्वर महादेव मंदिर के गर्भ गृह में एक सुरंग आज भी मौजूद है। लेकिन जब भी किसी ने उस सुरंग को खोदने का प्रयास किया तो या तो वह व्यक्ति गायब हो जाता है, या फिर अंधा हो जाता है। वहीं कुछ लोगों का मानना है कि इस मंदिर की सुरंग में खजाना मौजूद है, जिसकी रखवाली दो बड़े-बड़े नाग करते हैं। बताया जाता है कि कई लोगों को इस स्थान पर तांबे और चांदी के सिक्के भी मिले हैं।

    क्या है शिवलिंग से जल गायब होने का रहस्य। shivling se jal gayab hona

    दरअसल, जब भी कल्याणेश्वर मंदिर में शिवलिंग पर कोई भी श्रद्धालु दूध या जल अर्पित करते हैं, तो ऐसा लगता है जैसे दूध और पानी भूमि में समा जाता है। यह पानी और दूध कहां जाता है, यह आज तक किसी को पता नहीं चल पाया है। कई लोगों ने इस रहस्य के बारे में जानने का प्रयास किया, लेकिन इस राज से भी पर्दा नहीं उठ सका।

    क्या है पौराणिक कथा

    पौराणिक कथा के अनुसार, सैकड़ों साल पहले प्रसिद्ध राजा नल ने यहां शिवलिंग का जलाभिषेक किया था। लेकिन राजा के देखते ही देखते वह जल भूमि में समा गया। इस चमत्कार को देखकर वह हैरान रह गए। इसके बाद राजा नल ने इस रहस्य से पर्दा उठाने के लिए बैलगाड़ी से हजारों घड़े गंगाजल ढुलवाकर शिवलिंग पर चढ़ाया। लेकिन हजारों घड़े जल भी भूमि में समा गया। जब राजा नल इस इस रहस्य के बारे में नहीं पता लगा सके तो उन्होंने महादेव से क्षमा मांगी और वापस अपने देश लौट गए। बताया जाता है कि यहां पर तीन महीने तक मराठा छत्रपति शिवाजी ने भी रुद्रयज्ञ किया था।

     

     

    Share. Facebook WhatsApp
    Previous ArticleGanesh puja: आखिर क्यों भगवान श्रीगणेश जी को समर्पित है बुधवार का दिन
    Next Article Adhik Maas Padmini Ekadashi 2023: इस बार पद्मिनी एकादशी पर बन रहा है शुभ संयोग…जानिए क्या है वो

    Related Posts

    भारत के वो 6 स्थान जिन्हे माना जाता है हनुमान भगवान का जन्म स्थान।

    भारत के प्रसिद्ध मंदिर।

    सोमनाथ मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है इसकी भविष्यवाणी।

    Leave A Reply Cancel Reply

    Special for You

    भारत के वो 6 स्थान जिन्हे माना जाता है हनुमान भगवान का जन्म स्थान।

    Hanuman August 24, 2023

    हनुमान जी संसार के सबसे लोकप्रिय भगवान में से एक है और हज़ारो सालो से…

    भारत के प्रसिद्ध मंदिर।

    August 19, 2023

    सोमनाथ मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है इसकी भविष्यवाणी।

    August 18, 2023

    Ganga Ji: सपने में गंगा जी देखना कैसा होता है।

    August 11, 2023
    Recent
    • भारत के वो 6 स्थान जिन्हे माना जाता है हनुमान भगवान का जन्म स्थान।
    • भारत के प्रसिद्ध मंदिर।
    • सोमनाथ मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है इसकी भविष्यवाणी।
    • Ganga Ji: सपने में गंगा जी देखना कैसा होता है।
    • Dhan ki Varsha: यदि आपके पर्स में होंगी ये 5 चीजे तो माँ लक्ष्मी करेगी धन की वर्षा

    भारत के वो 6 स्थान जिन्हे माना जाता है हनुमान भगवान का जन्म स्थान।

    Hanuman August 24, 2023

    हनुमान जी संसार के सबसे लोकप्रिय भगवान में से एक है और हज़ारो सालो से…

    सोमनाथ मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है इसकी भविष्यवाणी।

    Mahadev August 18, 2023

    क्या आज के समय में जो कुछ भी हो रहा है,उसका वर्णन पहले हीं हो…

    Recent Posts
    • भारत के वो 6 स्थान जिन्हे माना जाता है हनुमान भगवान का जन्म स्थान।
    • भारत के प्रसिद्ध मंदिर।
    • सोमनाथ मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है इसकी भविष्यवाणी।
    • Ganga Ji: सपने में गंगा जी देखना कैसा होता है।
    • Dhan ki Varsha: यदि आपके पर्स में होंगी ये 5 चीजे तो माँ लक्ष्मी करेगी धन की वर्षा
    Top Product
    • Silver Jewellery
    • Spiritual T Shirt
    • Spiritual Locket
    • Spiritual Ring
    • Spiritual Bracelet
    Imp Links
    • Privacy Policy
    • Shipping and Delivery Policy
    • Terms and Conditions
    • Disclaimer
    • Privacy Policy
    • Shipping and Delivery Policy
    • Terms and Conditions
    • Disclaimer
    © 2022-23 Prabhubhakti Private Limited

    Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.