Durga Kavach Locket संसार का सबसे शक्तिशाली और अतिफलदायक कवच है, यह Maa Durga Kavach आपको नकारात्मक तथा बुरी शक्तियो से बचाता है और आपको चिरंजीवी बनाता है।
माँ Durga Kavach क्या होता है?
माँ Durga Kavach संसार के अठारह पुराणों में से सबसे शक्तिशाली पुराण मार्कंडेय पुराण का हिस्सा है. यह भगवती दुर्गा कवच एक तरह से दुर्गा माँ का पाठ है
जो हमें साहस और हिम्मत प्रदान करता है और दुष्टों से हमारी रक्षा करता है. कहा जाता है कि माँ दुर्गा कवच को भगवान ब्रह्मा ने ऋषि मार्कंडेय को सुनाया था.
इस कवच में कुल 47 श्लोक शामिल हैं. वहीँ इन श्लोकों के अंत में 9 श्लोक फलश्रुति रूप में लिखित हैं. फलश्रुति का अर्थ है, ऐसा पाठ जिसे पढने या सुनने से भगवान
का आशीर्वाद या फल प्राप्त हो.
कैसे करें देवी कवच का पाठ ?
- भगवती के कवच का पाठ करने से पहले सप्तश्लोकी दुर्गा का पाठ करें।
- यदि सप्तश्लोकी पाठ नही कर सकें तो , किसी भी मंत्र को तीन बार पढ़कर देवी कवच का पाठ करे।
- असाध्य रोग की स्थिति में देवी कवच का तीन बार पाठ करें।
- प्रारम्भ और अंत में देवी सूक्तम का पाठ कर लें तो बहुत अच्छा होता हैं।
- देशी घी का दीपक जलाकर पाठ करें।
- देवी कवच में शरीर के समस्त अंगों का उल्लेख है।
- हो सके तो नवरात्र पूर्ण होने पर अष्टमी या नवमी के दिन काले तिलों से हवन करें।
- यदि प्रतिदिन अग्यारी करते हैं तो काले तिलों से यज्ञाहूति देते हुए कवच करें।
durga kavach का पाठ करने से क्या होता हैं ?
मानसिक रूप से या फिर किसी भूत – प्रेत की बाधाओं को दूर करने के लिए दुर्गा कवच पाठ किया जाता है।
दुर्गा कवच का पाठ करने से हमारे आस – पास किसी भी बुरी तरह की शक्ति प्रवेश नहीं कर करती।
durga kavach पाठ कब करना चाहिए?
नवरात्र के दिनों में मां दुर्गा के भक्त पूरे विधि विधान से 9 दिन पूजा करने के बाद दुर्गा सप्तशती का पाठ करते हैं। दुर्गा सप्तशती का पाठ ज्यादातर घरों में हर रोज किया जाता है
लेकिन नवरात्र में इसका पाठ विशेष फलदायी माना जाता है.
durga kavach के लाभ।
- durga kavach हमे सभी असुरी शक्तियों से बचाता है।
- व्यक्ति के सभी तरह के रोगो को दूर करता है।
- durga kavach सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ाने में सहायक है।
- यह हमारे बाहरी और आंतरिक अंगों की रक्षा करता है।
- durga kavach को धारण किये जाने से सौभाग्य की प्राप्ति होती है।